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महिला थाने की दो प्रबंधकों की अलग -अलग सोच, एक ने बताया झूठा दूसरी ने कराया पोक्सो एक्ट और दुष्कर्म का केस दर्ज

दुष्कर्म के आरोपों में घिरे व्यक्ति को निकलवाने पहुंचे लोग

पलवल के हसनपुर थाना क्षेत्र के कई गाँवों से आये सैंकड़ों लोगों ने गत 6 सितम्बर को पलवल महिला थाने में दर्ज 12 वर्षीय नाबालिग लडकी के साथ हुए दुष्कर्म मामले को झूठा बताकर जिला पुलिस अधीक्षक से निष्पक्ष न्याय की गुहार लगाई है | लोगों में कई गाँवों से आये पंचों ने मामले को दो परिवारों की आपसी रंजिश का परिणाम बताया है जिसमें नाबालिग लडकी को मोहरा बनाकर एक निर्दोष व्यक्ति को झूठा फंसाया जा रहा है |

पलवल जिला सचिवालय परिसर में दिखाई दे रहे लोग भूपगढ़ तथा आसपास के कई गाँवों के मौजिज पंच हैं , जिनमें कई गाँवों के वर्तमान सरपंच सहित कई पूर्व सरपंच  भी शामिल हैं | इन लोगों ने बताया की गत माह 22 अगस्त को हरभजन नाम के व्यक्ति ने अपनी दूकान से चुपचाप बिना बताये ग्यारह- बारह वर्ष की लडकी के द्वारा सामान उठाकर चलने पर दो थप्पड़ मार दिए थे, जिस पर पीडिता लडकी के परिजनों की तरफ से हसनपुर थाने  के बाद पलवल महिला थाने में लडकी के साथ छेड़छाड किये जाने की लिखित सिकायत दी थी|  जिसकी कार्रवाई तत्कालीन महिला थाना प्रभारी अंजू देवी ने की थी और सिकायत को झूठी पाए जाने पर दफ्तर दाखिल कर दी गई थी |

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              ग्रामीणों ने बताया की महिला थाना प्रभारी के अंजू देवी के दबादले के बाद पीड़िता लडकी पक्ष के लोग महिला थाने में फिर से आये और उन्होंने नई थाना प्रबंधक से छेडछाड के मामले को दुष्कर्म की घटना बताकर पोक्सो सहित दुष्कर्म की आईपीसी की धारा 376 के तहत दर्ज करा दिया जो की झूठा दर्ज कराया गया है | जिसके लिए उन्होंने जिला पुलिस अधीक्षक से न्याय की गुहार लगाई है | और मांग की है की दुष्कर्म के झूठे केस में फंसाकर आरोपी बनाए गये हरभजन को निकाल दिया जाए | ग्रामीणों ने बताया की जिला पुलिस अधीक्षक ने उनकी बात को गौर से सुना है और इस मामले को बेहद संजीदा और सम्वेदनशील बताते हुए निष्पक्ष जाँच का आश्वाशन दिया है |

  नासमझ बच्ची के साथ दुष्कर्म के मामले में जब जिला पुलिस अधीक्षक से बात की तो उन्होंने बताया की  महिला थाना के प्रभारी डीएसपी को इसी सम्बन्ध में बुलाया हुआ है | मामले की पूरी पड़ताल जब तक नहीं हो जाएगी तब तक मीडिया में आकर कुछ भी कहना ठीक नहीं होगा | कहा की वह दो- दिन बाद ही इस केस में अपनी कोई राय दे सकेंगे, वह भी जरुरी समझा गया तब |  

वहीं दुष्कर्म जैसे संगीन मामले को झूठा बताते हुए कई गाँवों के पंच आरोपी हरभजन के पक्ष में हर तरह की कसम और धर्म उठाकर सपथ देने को तैयार हैं | गग्रामीणों ने आरोप लगाया है पीड़ित लडकी के परिजनों ने इस तरह की सिकायत देने का धंधा बनाया है | 22 अगस्त को जिस दिन की घटना बताया जा रहा है उस दिन वहां पर ऐसा कुछ भी नहीं हुआ था | ग्रामीण किशनलाल का कहना है की जिस दिन और समय की घटना बताई गई है उस समय वह वहीं पर मौजूद था और उसने देखा की आरोपी हरभजन ने उस लडकी को सामान उठाकर ले जाने पर दो थप्पड़ जरुर मारे थे इससे ज्यादा कुछ नहीं हुआ था |

घटना वाले दिन और समय पर प्रत्यक्षदर्शी गवाह किशनलाल

  मामला बेहद संगीन होने के बाद सवाल उठता है की पूर्व में महिला थाना प्रबंधक सब इंस्पेक्टर अंजू देवी ने इसी सिकायत पर कोई कार्रवाही क्यों नहीं की और नई थाना प्रबंधक सब इंस्पेक्टर रेखा देवी को इस मामले में ऐसे कौन से तथ्य मिल गये जिन के आधार पर महज छेडछाड वाले मामले को पोक्सो एक्ट और दुष्कर्म की धाराओं में केस दर्ज करा पीडिता का मेडिकल परीक्षण भी करा दिया और अदालत में ब्यान दर्ज करा दिए |

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